एन.एस. बेन्द्रे N.S. BENDRE
एन.एस. बेन्द्रे का पूरा नाम नारायण श्रीधर बेन्द्रे है इनका जन्म अगस्त 1910ई0 को मध्य प्रदेश के इंदौर मे हुआ था । ये बड़ौदा विश्वविध्यालय के ललित कला संकाय के अध्यक्ष बने ओर वंहा से अवकाश लेने के पश्चात मुंबई मे अपनी रचना करते रहे । उसके बाद मद्रास की एक फिल्म कंपनी मे कला निर्देशन का कार्य किया । बेन्द्रे के चित्रो मे मुख्य घटक वास्तुशिल्प रूप ,प्रकृति सैर ओर लोक जीवन की आकृतिया है । बेन्द्रे ने अपने चित्रो मे बिन्दुओ का बहुलता से प्रयोग किया है इसलिए उन्हे बिंदुवादी चित्रकार कहा जाता है ।
एन.एस. बेन्द्रे से संबन्धित प्रश्न –
- एन.एस. बेन्द्रे ने इंदौर मे कला की शिक्षा किससे प्राप्त की
-डी0 डी0 देवलालीकर
- 1933 ई0 मे एन.एस. बेन्द्रे ने आर्ट मे डिप्लोमा कहाँ से प्राप्त किया ।
-जे.जे . स्कूल ऑफ आर्ट , मुंबई
- किस कलाकार ने कश्मीर सरकार के ‘विजिटर्स ब्यूरो’ मे बतौर कलाकार –पत्रकार के रूप मे कार्य किया ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- एन.एस. बेन्द्रे को बॉम्बे आर्ट सोसाइटी का स्वर्ण पदक कब प्राप्त हुआ
-1941 ई0 मे
- सन 1986 -87 ई0 मे किस कलाकार को कालीदास सम्मान मिला ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- एन.एस. बेन्द्रे के प्रमुख शिष्य थे
- ज्योति भट्ट
- त्रिलोक कौर
- शांति दवे
- जी0आर0 संतोष
- रतन परिमु
- ग़ुलाम मुहम्मद शेख
- ‘आफ्टर द रेस’ (तैल) शीर्षक चित्र किसका है –
-एन.एस. बेन्द्रे
- 1950 ई0 मे एन.एस. बेन्द्रे किस विश्वविध्यालय के प्रथम रीडर (व्यख्यता) नियुक्त किए गए
-ललित कला संकाय ,महाराजा सियाजीराव विश्वविध्यालय बड़ौदा
- भारतीय कलाकारो मे बिंदुवादी कलाकार कोन है ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- भारत मे नव प्रभाववाद मे प्रयोग करने वाले प्रथम कलाकार थे ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- किस कलाकार ने प्रभाववादी तथा घनवादी शैली को अपनाकर अपनी रचनाओ को जीवनतता प्रदान की ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- भारत मे प्रथम प्रभाववादी प्रवृति का सर्वप्रथम परिचय किसने दिया ।
-जे0जे0 स्कूल ऑफ आर्ट के निर्देशक ग्लेडस्टोन सोलोमन ने
- सन 1956 मे बनाया गया चित्र ‘’सौराष्ट्र के बारवाड़’’ का चित्रकार कौन है ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- ललित कला अकादमी द्वारा जारी मोनोग्राफी के मुख पृष्ठ पर छापा चित्र ‘’सूर्यमुखी फूल’’ किसका है ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- ‘गपशप’ (संग्रह ललित कला अकादमी ,नई दिल्ली) चित्र को एन.एस. बेन्द्रे ने 1955-65 ई0 की कालावधि मे किस माध्यम मे चित्रित किया
-कैनवास पर तैल रंग
- 110सेमी0 *105 सेमी0 माप का तैल चित्र जिसका शीर्षक ‘आफ्टर द रेन्स’ है के चित्रकार है ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- ‘तीन औरते’ (थ्री वूमेन ) (1984 ई0 तैल ) किसका चित्र है ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- ‘बर्तन बाजार’ (इंदौर) वर्ष 1993 ई0 किसका चित्र है ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- राष्ट्रीय आधुनिक कला संग्रहालय नई दिल्ली मे सुरक्षित बोर्ड पर तैल चित्र ‘काँटा’ (1955 ) किसका है ।
-एन.एस. बेन्द्रे
- एन.एस. बेन्द्रे को ‘पदमश्री’ व ‘पदमभूषण पुरुस्कार’ कब मिला ।
-1969 ई0 पदमश्री व 1992 ई0 मे पदमभूषण मिला
- एन.एस. बेन्द्रे का देहान्त कब ओर कहाँ हुआ था ।
-19 फरवरी 1992 ई0 को मुंबई मे
- एन.एस. बेन्द्रे के प्रमुख चित्र –
- प्यास
- फल बेचने वाली
- लकड़ी काटने वाली
- सूरजमुखी
- दार्जिलिंग के चाय के बागान की युवती
- ज्येष्ठ की दोपहर
- अमरनाथ तथा कश्मीर के दृश्य
- शृंगार
- कंधे पर बच्चा
- लकड़ी का गट्ठर उठाते हुए
- युवती
- गाय ओर बछड़ा
- तोता ओर चमेलियन
- राजस्थान का ग्रामीण
- काठियावाड का ग्रामीण
- पोट्रेट ऑफ ए हाउस
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